तुलनात्मक राजनीति का अर्थ एवं परिभाषा
प्रश्न 1. तुलनात्मक राजनीति के अर्थ और प्रकृति का वर्णन कीजिए। तुलनात्मक राजनीति और तुलनात्मक सरकार में क्या अन्तर है ?
अथवा ''तुलनात्मक राजनीति का क्या अर्थ
है ?
तुलनात्मक राजनीति और तुलनात्मक सरकार के मध्य अन्तर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर -
तुलनात्मक राजनीति : अर्थ एवं परिभाषाएँ
आधुनिक राजनीतिशास्त्रियों का यह दावा है कि उन्होंने राजनीतिक प्रक्रिया के सिद्धान्त व प्रतिमान निर्माण की ओर प्रथम चरण के रूप में राजनीतिक विश्लेषण की नूतन अवधारणाओं के सुझाव प्रस्तुत किए हैं। इनकी मान्यता है कि राज्य की अवधारणा विश्लेषण के एक उपकरण के रूप में उन राजनीतिक व्यवस्थाओं की तुलना व उपयोगी अध्ययन करने में विशेष सहायक नहीं है
जिनमें आकार, संगठन, संस्थाओं व संस्कृति की आधारभूत भिन्नताएँ हों। इसलिए राजनीति विज्ञान में वर्षों से प्रचलित परम्परागत अवधारणाओं; जैसे राज्य, सरकार, कानून व सत्ता के स्थान पर नई अवधारणाओं का प्रयोग अपरिहार्य माना जाने लगा, जिससे राजनीतिक क्रिया की गहराइयों में झाँका जा सके।
इसलिए समकालीन राजनीति वैज्ञानिकों द्वारा राजनीतिक अध्ययन में राजनीतिक व्यवस्था (Political System), राजनीतिक संस्कृति (Political Culture), राजनीतिक संरचना (Political Structure) एवं राजनीतिक विकास (Political Development) आदि नई अवधारणाओं का प्रयोग किया जाने लगा।
इन नई अवधारणाओं में भी राजनीतिक व्यवस्था को बुनियादी
अवधारणा माना जाने लगा है। इस राजनीतिक व्यवस्था से सम्बन्धित प्रक्रिया के विभिन्न
स्तरों पर तुलनात्मक अध्ययन के आधार पर राजनीतिक व्यवहार सम्बन्धी सिद्धान्त
निर्माण के लक्ष्य से युक्त शास्त्र को 'तुलनात्मक
राजनीति' कहा जाता है।
जी. के. रॉबर्ट्स ने
तुलनात्मक राजनीति को परिभाषित करते हुए लिखा है कि "तुलनात्मक राजनीति
वृहत्तर क्षेत्र का संकेतक है, जिसमें तुलनात्मक सरकारों और
गैर-शासकीय कबीलों, सम्प्रदायों व गैर-राजकीय संगठनों की
राजनीति का भी अध्ययन किया जाता है।"
एम. कार्टिस ने तुलनात्मक
राजनीति की व्याख्या करते हुए कहा है कि "तुलनात्मक राजनीति का सम्बन्ध राजनीतिक
संस्थाओं की कार्यविधि और राजनीतिक व्यवहार की महत्त्वपूर्ण निरन्तरताओं, समानताओं और असमानताओं से है I”
राल्फ
ब्रेबन्ती के अनुसार, "तुलनात्मक राजनीति सम्पूर्ण सामाजिक
व्यवस्था में उन तत्त्वों की पहचान व व्याख्या है, जो
राजनीतिक कार्यों व उनके संस्थागत प्रकाशन को प्रभावित करते हैं।" एडवर्ड ए. फ्रीमैन के अनुसार, "तुलनात्मक
राजनीति तुलनात्मक राजनीतिक संस्थाओं एवं सरकारों के विविध प्रकारों का एक
तुलनात्मक विवेचन एवं विश्लेषण है।"
संक्षेप
में,
तुलनात्मक राजनीति राजनीतिक संस्थाओं और राजनीतिक व्यवहार की
समानताओं और असमानताओं के अध्ययन से सम्बन्धित है। इस प्रकार तुलनात्मक राजनीति का
सम्बन्ध राजनीतिक व्यवहार की सम्पूर्णता के अध्ययन से है, जिसमें
सरकारों और राजनीतिक संस्थाओं के तुलनात्मक अध्ययन के साथ उन प्रभावों और
प्रतिक्रियाओं का अध्ययन भी शामिल है, जिनसे सरकारों का
व्यवहार बनता-बिगड़ता और प्रभावित होता है।
तुलनात्मक
राजनीति की प्रकृति-
तुलनात्मक
राजनीति की प्रकृति के सम्बन्ध में वुड का यह कथन उल्लेखनीय है-"इस
क्षेत्र के नामकरण में तुलनात्मक शब्द के प्रयोग करने का एकमात्र कारण यह था कि इस
बात पर बल दिया जाए कि क्षेत्र की राजनीति विज्ञानों के प्रति जो जिम्मेदारी है,
उसके अनुसार विश्व में विद्यमान राजनीतिक व्यवस्थाओं का राजनीति
विज्ञान में सिद्धान्त निर्माण और परीक्षण की सामान्य खोज में तुलना के लिए
इकाइयों के तौर पर स्वीकार किया जाए।"
आधुनिक
तुलनात्मक राजनीति की प्रकृति के सम्बन्ध में निम्नलिखित तथ्य प्रस्तुत किए जा
सकते हैं -
(1)
तुलनात्मक राजनीति पश्चिमी, गैर-पश्चिमी और
साम्यवादी देशों की संस्थाओं का तुलनात्मक विश्लेषण है।
(2)
तुलनात्मक राजनीति विविध राजनीतिक संरचनाओं के साथ-साथ अराजनीतिक
संरचनाओं और उनके प्रभावों का अध्ययन है।
(3)
तुलनात्मक राजनीति में राजनीतिक संस्थाओं की अपेक्षा मानव स्वभाव,
उसकी परिस्थितियाँ तथा उसके व्यवहार के अध्ययन को अधिक महत्त्व दिया
जाता है।
(4)
तुलनात्मक राजनीति में राजनीतिक कार्यकलाप, राजनीतिक
प्रक्रिया और राजनीतिक सत्ता का अध्ययन किया जाता है।
(5) विभिन्न
राजनीतिक प्रणालियों के मूल्य की तुलना की जाती है।
उपर्यक्त तथ्यों के
बावजूद इसकी प्रकृति के बारे में विद्वानों में मतभेद हैं । मख्य रूप से इसकी
प्रकृति के सम्बन्ध में दो दृष्टिकोण पाए जाते हैं -
(I) तुलनात्मक राजनीति लम्बात्मक तुलना-
इस विचार के समर्थकों के अनसार
तुलनात्मक राजनीति एक ही देश में स्थित विभिन्न स्तरों पर स्थापित सरकारों व उनको
प्रभावित करने वाले राजनीतिक व्यवहारों का तुलनात्मक विश्लेषण व अध्ययन है।
प्रत्येक राज्य में कई स्तरों पर सरकारें होती हैं; जैसेराष्ट्रीय सरकार,
प्रान्तीय सरकार, स्थानीय सरकार आदि। इस
दृष्टिकोण के अनुसार तुलनात्मक राजनीति का सम्बन्ध इस प्रकार की एक ही देश में
स्थित विभिन्न सरकारों-राष्ट्रीय, प्रान्तीय एवं स्थानीय की
आपस में तुलना से है। तुलनात्मक राजनीति एक ही देश की विभिन्न सरकारों की
लम्बात्मक तुलना है।
वस्तुतः यह दृष्टिकोण तर्कसंगत नहीं है।
राष्ट्रीय सरकार और स्थानीय सरकारों के मध्य पाई जाने वाली समानता सही नहीं है।
आर्थिक साधनों के स्रोत, आकार व सम्भावनाओं की दृष्टि से देखें तो दोनों
में काफी अन्तर पाया जाता है। अतः तुलनात्मक राजनीति की व्याख्या एक लम्बात्मक अध्ययन
व तुलना के रूप में नहीं की जा सकती।
(II) तुलनात्मक राजनीति अम्बरान्तीय तुलना-
तुलनात्मक राजनीति की प्रकृति सम्बन्धी
दूसरी धारणा के अनुसार यह राष्ट्रीय सरकारों का अम्बरान्तीय (Horizontal) तुलनात्मक अध्ययन है और अधिकांश राजनीतिशास्त्री इस
धारणा से सहमत हैं। ऐसी तुलना दो प्रकार से हो सकती है—प्रथम
तुलना तो एक ही देश की विभिन्न कालों में विद्यमान राष्ट्रीय सरकारों की आपस में
हो सकती है,
और द्वितीय उन राष्ट्रीय सरकारों में जो
आज सम्पूर्ण विश्व में विद्यमान हैं, हो सकती है।
तुलनात्मक राजनीति की प्रकृति सम्बन्धी
सर्वमान्य धारणा यही है कि वह समकालीन विश्व में प्रचलित राष्ट्रीय सरकारों का
तुलनात्मक अध्ययन है। प्रसिद्ध विद्वान् जीन ब्लोण्डेल ने इसका समर्थन करते
हुए लिखा है, "हमारे पास तुलनात्मक सरकारों के अध्ययन का केवल
एक ही दृष्टिकोण शेष बचता है और वह है समकालीन विश्व की राजनीतिक व्यवस्थाओं से
सम्बद्ध राष्ट्रीय सरकारों का राष्ट्रीय सीमाओं के आर-पार अध्ययन करना।" वास्तव
में इसी प्रकार की तुलना से न केवल सामान्यीकरण सम्भव है वरन् राजनीतिक व्यवहार के
सम्बन्ध में ऐसे सिद्धान्तों का प्रतिपादन भी किया जा सकता है जिनसे हर देश की
राजनीतिक व्यवस्था को समझा जा सके।
संक्षेप में, तुलनात्मक
राजनीति की प्रकृति के विवेचन से यह स्पष्ट होता है कि यह एक स्वतन्त्र अनुशासन है,
जो राजनीति विज्ञान में एक महत्त्वपूर्ण शाखा बन गया है। तुलनात्मक
राजनीति एक ही देश की राष्ट्रीय सरकारों का ऐतिहासिक सन्दर्भ व राष्ट्रीय सीमाओं के आर-पार तुलनात्मक अध्ययन ही नहीं है, अपित
इसके साथ-साथ राजनीतिक प्रक्रियाओं व राजनीतिक व्यवहार तथा सरकारी तन्नों को
प्रभावित करने वाली गैर-शासकीय व्यवस्थाओं का तुलनात्मक अध्ययन है।
तुलनात्मक राजनीति और तुलनात्मक सरकार
में अन्तर-
सामान्यतया तुलनात्मक शासन या तुलनात्मक सरकार और तुलनात्मक राजनीति को पर्यायवाची समझ लिया जाता है, क्योंकि दोनों का अध्ययन क्षेत्र राजनीति है। इसलिए प्रायः तुलनात्मक राजनीति तथा तुलनात्मक सरकार शब्दों का प्रयोग परस्पर एक-दूसरे के लिए किया जाता है, जबकि दोनों में पर्याप्त अन्तर है।
तुलनात्मक राजनीति और तुलनात्मक सरकार
में अन्तर को निम्न शीर्षकों के आधार पर स्पष्ट कर सकते हैं -
(1) विषय क्षेत्र सम्बन्धी अन्तर—
तुलनात्मक राजनीति का क्षेत्र तुलनात्मक
सरकार से अधिक व्यापक है। तुलनात्मक सरकार में जहाँ विभिन्न राजनीतिक व्यवस्थाओं, उनकी
संस्थाओं तथा कार्यों का अध्ययन किया जाता है, वहीं
तुलनात्मक राजनीति में इन विषयों के अतिरिक्त उन विषयों का भी अध्ययन होता है जो
गैर-राजकीय राजनीति से सम्बन्धित हैं। तुलनात्मक सरकार में केवल संवैधानिक
संस्थाओं; जैसे—कार्यपालिका, व्यवस्थापिका, न्यायपालिका, नौकरशाही
आदि का ही अध्ययन किया जाता है, जबकि तुलनात्मक राजनीति में
संवैधानिक संस्थाओं के अतिरिक्त गैर-सरकारी, गैर-राजकीय,
गैर-निगमीय। कबीलों की राजनीति, उनकी कार्यशीलता
और उनकी कार्यशीलता को प्रभावित करने वाले तत्त्वों का भी अध्ययन किया जाता है।
(2) उद्भव सम्बन्धी अन्तर-
अरस्तू ने विश्व के 158 संविधानों का
तुलनात्मक अध्ययन करके तुलनात्मक विश्लेषण सम्बन्धी अपने विचार दिए थे, जबकि
तुलनात्मक राजनीति अपेक्षाकृत नया विषय है। इसका उद्भव 20वीं
शताब्दी के प्रारम्भ से माना जाता है।
(3) मूल्य सम्बन्धी अन्तर–
तुलनात्मक सरकार के समर्थक विद्वान् कुछ
मूल्यों को सामने रखकर अपना अध्ययन करते हैं तथा एक ही विषय पर बार-बार अध्ययन
करके अपने विचार प्रकट करते हैं। इसके विपरीत तुलनात्मक राजनीति के विद्वान् मूल्य
निरपेक्ष अध्ययन पर बल देते हैं।
(4) अध्ययन के स्वरूप में अन्तर–
तुलनात्मक सरकार में सरकार को औपचारिक
संस्थाओं;
जैसे-कार्यपालिका, व्यवस्थापिका तथा
न्यायपालिका का ही अध्ययन किया जाता है, जबकि तुलनात्मक
राजनीति में औपचारिक संस्थाआ के अतिरिक्त अनौपचारिक संस्थाओं, व्यक्तियों, दबाव समूहों, कबीलों
आदि का भी अध्ययन किया जाता है।
(5) भविष्यवाणी सम्बन्धी अन्तर-
दुलनात्मक सरकार के सन्दर्भ में अध्ययन
करके हम केवल उन संस्थाओं के स्वरूप, ढाँचे आदि पर केवल विचार ही प्रकट कर सकते हैं,
उनके बारे में भविष्यवाणी नहीं की जा सकती। इसके विपरीत तुलनात्मक
राजनीति के अध्ययन द्वारा सिद्धान्तों का निर्माण किया जा सकता है और विभिन्न
समस्याओं पर विचार करके निष्कर्ष निकाले जा सकते हैं, जिसके
द्वारा भविष्यवाणी करना आसान होता है।
(6) तुलनात्मक सरकारों का अध्ययन वर्णनात्मक है, जबकि तुलनात्मक राजनीति का अध्ययन विश्लेषणात्मक है-
तुलनात्मक सरकारों के अध्ययन में
विभिन्न राज्यों की औपचारिक संस्थाओं, उनकी रचना तथा कार्यों आदि के विषय में केवल वर्णन
किया जाता है। इससे उनके बारे में सही ज्ञान प्राप्त नहीं हो सकता। दूसरी ओर
तुलनात्मक राजनीति में विभिन्न शासन प्रणालियों का न केवल वर्णनात्मक अध्ययन किया
जाता है, अपितु विश्लेषणात्मक अध्ययन पर भी विशेष बल दिया
जाता है।
(7) आधारिक संरचनाओं के विषय में अन्तर—
तुलनात्मक सरकारों के मध्ययन में राजनीतिक
दल, दबाव समूह, जातीय व भाषायी संगठन आदि के अध्ययन पर
विशेष ध्यान नहीं दिया जाता है, जबकि तुलनात्मक राजनीति में
आधारिक संरचनाओं के अध्ययन पर विशेष ध्यान दिया जाता है।
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